पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ ने गंभीर आरोप लगाए हैं। आठ फरवरी को पाकिस्तान में आम चुनाव होंगे। इसके लिए देश में राजनीतिक हलचल बढ़ गई है। इसी बीच, तहरीक-ए-इंसाफ ने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग और न्यायपालिका के आश्वासन के बावजूद उसके सदस्यों को निशाना बनाया गया है।
साथ ही कहा कि नामांकन पत्र दाखिल करने से भी रोका गया है।
हमें चुनाव में भाग लेने से रोका जा रहा है- इमरान खान
बता दें ये आरोप पाकिस्तान के चुनाव आयोग द्वारा शुक्रवार को पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के संगठनात्मक चुनावों और चुनावों के लिए क्रिकेट के बल्ले को चुनाव चिन्ह के रूप में रखने की उसकी याचिका को खारिज करने के बाद आए हैं। बता दें चुनाव के लिए नामांकन दाखिल करने की अंतिम तारीख 24 दिसंबर हैं।
पार्टी नेताओं की एक सूची बनाई गई- वकील
एक रिपोर्ट में दावा किया गया कि पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के कई उम्मीदवारों को रिटर्निंग ऑफिस से मिलने तक की इजाजत नहीं दी गई है, जिससे सभी को समान अवसर प्रदान करने के कार्यवाहक सरकार के दावे को खारिज कर दिया गया है। पार्टी के वकीलों के मुताबिक, पुलिस ने 50 से अधिक पार्टी नेताओं की एक सूची तैयार की है, जिन पर कई मामले दर्ज किए गए हैं। संभावना है कि चुनाव प्रक्रिया में प्रवेश करने से उन्हें रोका जा सकता है। साथ ही पार्टी ने आरोप लगाया कि पुलिस द्वारा उनके संवैधानिक अधिकार को कुचला जा रहा है। शुक्रवार को जेल में बंद पीटीआई नेता यास्मीन राशिद के पति राशिद नबी मलिक को आरओ के कार्यालय से गिरफ्तार कर लिया गया, जब वह अपना नामांकन पत्र जमा करने गए थे।
अजीमुल्लाह खान ने कहा- हमें परेशान किया जा रहा है
पीटीआई के मध्य पंजाब के अतिरिक्त महासचिव सरदार अजीमुल्लाह खान ने बताया कि सरकार पार्टी के हर संभावित व्यक्ति को निशाना बना रही है, उन्हें एफआईआर में नामांकित कर रही है। साथ ही कहा कि कम्प्यूटरीकृत राष्ट्रीय पहचान पत्र (सीएनआईसी) और बैंक खातों को ब्लॉक करने की कार्रवाई कर रही है। परेशान करने के लिए उनके घरों पर छापेमारी कर रही है।
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